Arijit Singh
Ashq Na Ho
ओ, यूँ ना लमहा-लमहा मेरी याद में
होके तनहा-तनहा मेरे बाद में, नैना अश्क ना हो
माना कल से होंगे हम दूर
नैना अश्क ना हो, नैना अश्क ना हो

मैं ना लौटा आने वाले साल जो
मेरी वर्दी बोले मेरा हाल तो नैना अश्क ना हो
ये समझना, मैं हूँ मजबूर
नैना अश्क ना हो, नैना अश्क ना हो

बीते हुए लम्हों के तारे गिनूँगा मैं
आ के तुझे ख़ाबों में तेरे मिलूँगा मैं
जब कभी हल्की-हल्की बरखा आए
जब कभी दिल भी यूँ ही भर सा जाए
जब कभी हल्की-हल्की बरखा आए

उस पल झोंका एक बन के आऊँगा मैं
उस पल ज़ुल्फ़ें, पलकें, दामन छू जाऊँगा मैं

ओ, तेरी चूड़ी नग़में गाए जो मेरे
तेरी पलकों पे हों साए जो मेरे, नैना अश्क ना हो
आँसू करते हमें कमज़ोर
नैना अश्क ना हो, नैना अश्क ना हो

तेरे लिए साँसें आए, तेरे लिए जाएँ
जाएँ रे, जाएँ रे
तेरे लिए साँसें आए, तेरे लिए जाएँ
जाएँ रे, जाएँ रे
रब्बा...
रब्बा, बैरी से बिछोड़े जाने किसने बनाए
हाय रे, हाय रे, हाय रे, दूरी तड़पाए
मेरे बाद चाहे आए याद मेरी

नैना अश्क ना हो, नैना अश्क ना हो
नैना अश्क ना हो, अश्क ना हो

ओ, लिखी ख़त में मैंने तुझे बात जो
सोना रख के तकिए तले रात को
नैना अश्क ना हो, ये जुदाई भी है दस्तूर
नैना अश्क ना हो, नैना अश्क ना हो

मैं ना लौटा आने वाले साल जो
मेरी वर्दी बोले मेरा हाल तो नैना अश्क ना हो
ये समझना, मैं हूँ मजबूर
नैना अश्क ना हो, नैना अश्क ना हो